वह डायरी, ट्राजिस्टर और स्टोव
कतिपय कारणों से हमारे प्रिय लेखक देवेन मेवाड़ी की सीरीज कहो देबी, कथा कहो इस सप्ताह प्रकाशित नहीं की जा सकी है. सीरीज का अगला हिस्सा अगले सप्ताह नियत दिन प्रकाशित किया जायेगा. इस सप्ताह देवेन... Read more
26 फरवरी, 2019 की सुबह भारत ने पाकिस्तान पर बड़ी कार्रवाई की. इंडियन एयरफोर्स के फाइटर प्लेन पाकिस्तान के बालाकोट, चिकोठी और पाक अधिकृत कश्मीर ( POK ) के मुज़फ़्फ़राबाद इलाके में घुस गए. पाक... Read more
धारचूला: उत्तराखण्ड का एक महत्वपूर्ण क़स्बा
उत्तराखण्ड का एक महत्वपूर्ण क़स्बा है धारचूला. यह उत्तराखण्ड के कुमाऊँ मंडल का एक सीमान्त क़स्बा है. पिथौरागढ़ जिला मुख्यालय से 95 किमी की दूरी पर स्थित यह क़स्बा शताब्दियों से कैलाश-मानसरोवर या... Read more
कुमाऊनी लोकोक्तियाँ – 125
डा. वासुदेव शरण अग्रवाल ने एक जगह लिखा है – “लोकोक्तियाँ मानवीय ज्ञान के चोखे और चुभते सूत्र हैं.” यदि वृहद हिंदी कोश का सन्दर्भ लिया जाए तो उस में लोकोक्ति की परिभाषा इस प्रकार दी गई... Read more
पहाड़ और मेरा जीवन – 22 (पोस्ट को लेखक सुन्दर चंद ठाकुर की आवाज में सुनने के लिये प्लेयर के लोड होने की प्रतीक्षा करें.) मेरी कक्षा में सेना के अफसरों के कई बच्चे पढ़ते थे. उन बच्चों के साथ... Read more
क्रिकेट का असली डॉन
आज क्रिकेट के सर्वकालीन महानतम बल्लेबाज माने जाने वाले डॉन ब्रैडमैन की पुण्यतिथि है. साल 2001 में आज ही के दिन उनका देहांत हुआ था. कहा जाता है कि जिसने मीर तक़ी मीर का नाम नहीं सुना, उसे उर्द... Read more
पिथौरागढ़ के समलैंगिक टूरिस्ट स्पॉट्स के बारे में जानना है तो सरकारी वेबसाईट का दर्शन कीजिये
कल पिथौरागढ़ को जिला बने 59 साल पूरे हुये हैं. हमने जानना चाहा कि सरकार पिथौरागढ़ के इतिहास के बारे में क्या लिखती है. इसके लिये हम पिथौरागढ़ जिले की ऑफिसियल वेबसाइट पर गये. यहां स्थिति चौंकाने... Read more
उत्तराखंड के हर घर में बनने वाली भांग की चटनी
भांग शब्द सुनते ही अधिकांश लोगों के दिमाग में नशे जैसा कुछ आता हो या जै-जै शिव-शंकर की धुन बजती हो लेकिन अगर आप उत्तराखंड से हैं तो भांग से सबसे पहले आपको भांग की चटनी याद आयेगी. फिर आलू के... Read more
कुमाऊनी लोकोक्तियाँ – 124
डा. वासुदेव शरण अग्रवाल ने एक जगह लिखा है – “लोकोक्तियाँ मानवीय ज्ञान के चोखे और चुभते सूत्र हैं.” यदि वृहद हिंदी कोश का सन्दर्भ लिया जाए तो उस में लोकोक्ति की परिभाषा इस प्रकार दी गई... Read more
धरती मिट्टी का ढेर नहीं है अबे गधे
वीरेन डंगवाल (Viren Dangwal) के बारे में मशहूर कवि/सम्पादक/आलोचक विष्णु खरे ने लिखा था: “लेकिन इससे बड़ी ग़लती कोई नहीं हो सकती कि हम वीरेन डंगवाल को सिर्फ कवियों, कलाकारों और मित्रों का... Read more