हैडलाइन्स

जोशीमठ की जड़ में फिर से विस्फोट शुरू

कुछ महीने पहले देश और दुनिया में उत्तराखंड का एक इलाका एक बार फिर खबरों में रहा. पिछले दो एक दशकों में भारत का यह राज्य देश और दुनिया की खबरों में एक साथ तभी आया है जब घटना  आपदा से जुड़ी हो. पिछली बार देश और दुनिया की खबरों में छा जाने की बारी जोशीमठ की थी. जोशीमठ की स्थिति इस कदर गंभीर थी कि सरकार को अपने दो बड़े महत्त्वाकांक्षी प्रोजेक्ट्स पर रोक लगानी पड़ी.
(Joshimath Present News)

जोशीमठ की भयावह स्थिति का मुख्य कारण बीआरओ और एनटीपीसी दोनों के प्रोजेक्ट बताये गये. जोशीमठ की स्थिति के अध्ययन हेतु देश की शीर्ष 8 संस्थाओं को जिम्मा मिला. अध्ययन की रिपोर्ट फ़िलहाल तो किसी भी पब्लिक डोमेन में उपलब्ध नहीं हैं. रिपोर्ट में जो भी आये पर जब पिछली बार जब देश और दुनिया का रिपोर्टिंग कैमरा जोशीमठ पर था तब स्थानीय लोगों ने चीख-चीख कर बताया था कि जोशीमठ के भू-धसाव का असल कारण बीआरओ और एनटीपीसी द्वारा अपने प्रोजेक्ट्स के लिये किया जा रहा ब्लास्टिंग का काम है.      

अब खबर है कि सरकार ने बीआरओ और एनटीपीसी दोनों को अपने अपने प्रोजेक्ट्स को शुरु करने हेतु हरी झंडी दे दी है. जोशीमठ बचाओ संघर्ष समीति के संयोजक अतुल सती ने ट्विटर पर पहाड़ में हो रहे एक ब्लास्ट का वीडियो शेयर कर लिखा – जोशीमठ की जड़ में बाईपास के लिए फिर से विस्फोट शुरू…
(Joshimath Present News)

एक सवाल जोशीमठ की स्थिति कितनी गंभीर है? इसका जवाब पिछले ही दिन उत्तराखंड हाईकोर्ट की नैनीताल जिले से जुड़ी तल्ख टिप्पणी से समझा जा सकता है. उत्तराखंड हाईकोर्ट ने नैनीताल में सीजन के दौरान लग रहे ट्रैफिक जाम की समस्या से निजात दिलाने को स्वतः संज्ञान लेती जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए टिप्पणी करते हुए कहा कि अगर इस समस्या को जल्द नहीं सुलझाया गया तो नैनीताल के हालात भी जोशीमठ की तरह हो सकते है.

एक तरफ हाईकोर्ट की टिप्पणी में ‘जोशीमठ जैसे हालात?’ की बात कही जा रही है दूसरी ओर उसी जोशीमठ की जड़ों में विस्फोट. क्या सवाल नहीं पीछे जाने चाहिये की पिछले चार महीने में जोशीमठ में ऐसा क्या बदल गया है कि बीआरओ और एनटीपीसी दोनों को अपने अपने प्रोजेक्ट्स को शुरु करने हेतु हरी झंडी दे दी गयी है?
(Joshimath Present News)

काफल ट्री फाउंडेशन

काफल ट्री का फेसबुक पेज : Kafal Tree Online

Support Kafal Tree

काफल ट्री वाट्सएप ग्रुप से जुड़ने के लिये यहाँ क्लिक करें: वाट्सएप काफल ट्री

काफल ट्री की आर्थिक सहायता के लिये यहाँ क्लिक करें

Kafal Tree

View Comments

  • नेताओं, अधिकारियों, व्यवसायों और सरकारों को कागज़ कमाने हैं और कागज़ों पर अमर होने की गुदगुदाती इच्छा है, बाकी आमजन के लिए मुआवजा रूपी टुकड़े हैं ।

Recent Posts

उत्तराखंड में सेवा क्षेत्र का विकास व रणनीतियाँ

उत्तराखंड की भौगोलिक, सांस्कृतिक व पर्यावरणीय विशेषताएं इसे पारम्परिक व आधुनिक दोनों प्रकार की सेवाओं…

4 days ago

जब रुद्रचंद ने अकेले द्वन्द युद्ध जीतकर मुगलों को तराई से भगाया

अल्मोड़ा गजेटियर किताब के अनुसार, कुमाऊँ के एक नये राजा के शासनारंभ के समय सबसे…

1 week ago

कैसे बसी पाटलिपुत्र नगरी

हमारी वेबसाइट पर हम कथासरित्सागर की कहानियाँ साझा कर रहे हैं. इससे पहले आप "पुष्पदन्त…

1 week ago

पुष्पदंत बने वररुचि और सीखे वेद

आपने यह कहानी पढ़ी "पुष्पदन्त और माल्यवान को मिला श्राप". आज की कहानी में जानते…

1 week ago

चतुर कमला और उसके आलसी पति की कहानी

बहुत पुराने समय की बात है, एक पंजाबी गाँव में कमला नाम की एक स्त्री…

1 week ago

माँ! मैं बस लिख देना चाहती हूं- तुम्हारे नाम

आज दिसंबर की शुरुआत हो रही है और साल 2025 अपने आखिरी दिनों की तरफ…

1 week ago