जब शिव-पार्वती बनते हैं गांव के दीदी-जीजाजी
पंथ्यूड़ी में गमरा पूजा उत्तराखंड में भगवान व प्रकृति को विभिन्न रूपों में पूजा जाता है. समय-समय पर उनसे संबंधित अनेक पर्व व त्यौहार मनाए जाते हैं. देवभूमि में एक ऐसा अनोखा पर्व मनाया जाता है... Read more
गिर्दा की नवीं पुण्यतिथि
प्रख्यात जनधर्मी कलाकार-कवि के रूप में गिर्दा हमारे दिलों में अमर हैं. आज उन्हें गए हुए नौ साल बीत गए. उनके अवसान के बाद उनके परम मित्र और हिन्दी के बड़े कवि वीरेन डंगवाल ने कबाड़खाना ब्लॉग पर... Read more
दास्तान तिकोनिया के फेमस शंकर मीट भात की
अब से चालीस एक साल पहले हल्द्वानी क़स्बा खनन माफिया, भू-माफिया किस्म के लोगों का शहर नहीं हुआ करता था. अलबत्ता छोटे-मोटे अपराधी खैर और शराब की तस्करी जरूर किया करते थे और इसे अपराध ही माना जा... Read more
कल है उत्तराखंडी लोकपर्व घ्यूं त्यार
उत्तराखण्ड के दोनों अंचलों कुमाऊं और गढ़वाल में भादो महीने की संक्रान्ति को घ्यूं त्यार मनाया जाता है. कुमाऊं के कुछ इलाकों और गढ़वाल में इसे घी संक्रान्त कहते हैं. इस दिन विभिन्न प्रकार के... Read more
भारत छोड़ो आंदोलन और कुमाऊं के वीर
9 अगस्त 1942 को सूरज की पहली किरण से पहले ही आपरेशन ‘जीरो आवर’ के तहत देश भर में कांग्रेस के सभी बड़े नेता गिरफ्तार किये जा चुके थे. अंग्रेजों की अचानक हुई इस कार्रवाई के कारण पू... Read more
कल्पना की छलांग भर नहीं हैं आविष्कार
विक्रम सोनी जामिया मिल्लिया इस्लामिया विश्वविद्यालय, नई दिल्ली में सेंटर फॉर थेओरेटिकल फिजिक्स से जुड़े हैं; रोमिला थापर जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, नई दिल्ली में प्राचीन इतिहास की मानद प्र... Read more
भारत सरकार ने 1994 में उनकी फोटू वाला एक डाक टिकट जारी किया और नामकरण किये जाने से छूट गईं एकाध सड़कों के नाम उनके नाम पर रख दिए. उत्तराखंड बनने के बाद जब राज्य सरकार को अपने स्थानीय नायकों... Read more
इतिहास को क्यों पढ़ा जाये?
उत्तराखंड का इतिहास – भाग 1 -गिरीश लोहनी इतिहास को पढ़ने से पूर्व दो महत्त्वपूर्ण सवाल यह आते हैं कि इतिहास क्या है और इतिहास को पढ़ा क्यों जाये? इतिहास प्रत्येक पल में घटी महत्त्वपूर्... Read more
गढ़वाली लोक संस्कृति का अलमबरदार बेडा समुदाय
भारतीय शास्त्रों में भगवान शिव और गन्धर्वों को सृष्टि के आदि संगीत का जनक माना गया है. उत्तराखंड के गढ़वाल अंचल में रहने वाले बादी अथवा बेडा समुदाय की पहचान मूलतः गायन व नृत्य करने वाली एक ज... Read more
कुमाऊं की रामलीला से कुछ झलकियां
कुमाऊं की रामलीला बहुत चर्चित रही है. देश को अनेक रंगकर्मी इस रामलीला ने दिए. बी एल शाह, बी एम शाह, मोहन उप्रेती जैसे कलाकारों ने रामलीला की तालीमों में अपनी आरंभिक दीक्षा ली थी. दिल्ली में... Read more