नैनीताल हाईकोर्ट से उत्तराखंड सरकार को एकबार फिर झटका मिला है. पंचायत चुनाव को लेकर हाईकोर्ट में चल रहे मामले में न्यायालय ने अपना फैसला सुना दिया है.
कुछ दिन पहले सरकार ने एक नया नियम बनाया था जिसके तहत दो से अधिक बच्चे वाले पंचायत चुनाव में भाग नहीं ले सकते. कोर्ट ने पंचायत राज संशोधन एक्ट को रद्द करते हुए कहा कि
उत्तराखंड में अब दो से ज्यादा बच्चे वाले प्रत्याशी भी पंचायत चुनाव लड़ सकेंगे. नया कानून 25 जुलाई 2019 से लागू होगा.
हाईकोर्ट के इस फैसले का सीधा अर्थ यह है कि पंचायत चुनाव में केवल वह प्रतिनिधि भाग नहीं ले सकता जिसके 25 जुलाई 2019 के बाद दो से अधिक बच्चे हुए हों.
राज्य सरकार जून में पंचायती राज संशोधन एक्ट 2019 लेकर आई थी. राज्यपाल की मंज़ूरी के बाद इस एक्ट को राज्य में तुरंत प्रभाव से लागू कर दिया था. इस एक्ट से सबसे बड़ा असर यह हुआ था कि दो से ज़्यादा बच्चे वाले चुनाव नहीं लड़ सकते थे.
इस पंचायती राज एक्ट को कांग्रेस उपाध्यक्ष जोत सिंह बिष्ट, मनोहर लाल, मोहन प्रसाद काला समेत कई लोगों ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी.
याचिका में कहा गया था कि किसी भी एक्ट को लागू करने के लिए ग्रेस पीरियड दिया जाता है और एक निर्धारित अवधि के बाद वह कानून लागू होता है. सरकार ने तुरंत प्रभाव से और पिछले समय से इसे लागू कर गलत किया है.
-काफल ट्री डेस्क
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