नईमा खान उप्रेती एक क्रांति का नाम था. एक तरफ उत्तराखंड के लोक गीतों को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय पटल पर लाने के लिए उन्होंने मोहन उप्रेती जी के साथ मिलकर एक बड़ी भूमिका निभाई. दूसरी ओर रं... Read more
दस रुपये में भविष्य दर्शन
“आइये, आइये, भविष्य में चलिये, दस रुपये में भविष्य दर्शन, दस रुपये, दस रुपये!” कुछ लोग ज़ोर-ज़ोर से आवाज लगा रहे थे. बस-अड्डे पर तीन-चार गाड़ियां खड़ी थीं. तभी किसी गाँव से एक दल... Read more
उतीस के पेड़ का रहस्य और नीम करौली महाराज
आज 15 जून है, यदि सामान्य स्थिति होती और पूरा विश्व कोरोना जैसी महामारी से नहीं जूझ रहा होता तो कैंची धाम के मन्दिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह की वर्षगांठ पर लाखों की संख्या में लोग कैंची धाम... Read more
इस लम्हे से पहले जो हुआ सब भूल जा
यह बात ज्यादातर लोगों को बहुत नागवर लगेगी और बहुत क्रूर भी लेकिन हर पल बिना किसी दुख का, एक नया और बच्चों जैसे भोलेपन से भरा, आनंद और उत्साह से लबरेज जीवन जीने के लिए यह बहुत जरूरी है कि हम... Read more
लाइव के मौसम में एक जरूरी कथा
[अमित श्रीवास्तव की यह ताज़ा कहानी सच की अनेक परतों के बीच डूबती-उतराती रहती है. यह आधुनिक समय की अनेक ऐसी विद्रूपताओं के ऊपर पड़े जालों को साफ़ करता हुआ एक दस्तावेज है जिसे पढ़कर हमें अपने ही अ... Read more
कुमाऊनी झोई का स्वाद लाजवाब है
झोई अथवा झोली यानि कि कढ़ी हमारे कुमाऊं के भोजन में विभिन्न प्रकार से बनती है. कम से कम एक सप्ताह हम अपनी अलग-अलग झोई के स्वाद ले कर सभी को चख सकते हैं. गरीब से लेकर अमीर तक सबके घर में बनने... Read more
पिथौरागढ़ चम्पावत में धान की कुछ किस्में
पिथौरागढ़ चम्पावत में बोये जाने वाले धान की कुछ किस्मों का संक्षेप में वर्णन किया जा रहा है, जिससे धान की किस्मों में व्याप्त विविध गुणों के आधार पर उनके प्रयोग की जानकारी इंगित होती है.(Typ... Read more
उमेश तिवारी ‘विश्वास’ की कहानी चूहा
वहाँ ज़रूर कुछ अनोखा था. ड्राइव वे की तरफ़ वाला दरवाज़ा आधा खुला और मेरी पत्नी ने दबी ज़ुबान में पुकारा, “ओ सुनो..जल्दी बाहर आओ, तुमको एक चीज़ दिखाती हूं.” मामला फल-सब्ज़ी का होत... Read more
एक बच्चा अपनी मां को बहुत ख़ास महसूस करवाता है
4G माँ के ख़त 6G बच्चे के नाम – 58 (Column by Gayatree Arya 58)पिछली किस्त का लिंक: तुम्हारा ऐसे देखना मुझे कितना ख़ास महसूस करवाता है अभी-अभी तुम नींद के बीच में जगे, तो मैं अपनी गोद में ल... Read more
बचपन की सबसे सुरीली यादों में से एक का नाम है हीरा सिंह राणा. वो बचपन जिसे कुमाउंनी और गढ़वाली में भेद मालूम न था. और वो बचपन जिसमें खेल-खिलौने, पिक्चर-सर्कस के बीच गीतों के लिए बहुत कम जगह... Read more