“इन पेड़ों को काटने से पहले तुम्हें अपनी कुल्हाड़ियाँ हमारी देहों पर चलानी होंगी!”
26 मार्च 1974. उत्तराखंड का एक छोटा सा गाँव. नाम रैणी. गाँव की सभी महिलाएं एक बहादुर स्त्री के नेतृत्व में तीन दिन और तीन रात अपने पेड़ों को बचाने के लिए उनसे चिपक कर खड़ी रहती हैं. इन पेड़ों क... Read more
पूंजीवाद का अंधेरा तहखाना है कूड़ा
समकालीन जनमत से साभार लिया गया निस्सीम मन्नातुक्करन का यह लेख पूंजीवाद के डीएनए में मौजूद मनुष्य-विरोधी तत्त्वों की शिनाख्त करता है और उसके खतरनाक इरादों का पर्दाफाश भी. हमारे मुल्क में स्वच... Read more
अच्छे लेखक को कुछ भी बरबाद नहीं कर सकता है
विलियम फॉक्नर का साक्षात्कार (अनुवाद : शिवप्रसाद जोशी) नोबेल पुरस्कार से सम्मानित अमेरिकी उपन्यासकार विलियम फॉक्नर (1897-1962) के एक प्रसिद्ध साक्षात्कार का अंश. प्रस्तुत इंटरव्यू मशहूर साहि... Read more
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का निधन
देश के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का निधन हो गया है. वे 93 वर्ष के थे. लंबे समय से बीमार चल रहे वाजपेयी को 11 अगस्त को दिल्ली स्थित एम्स में भर्ती कराया गया था. एम्स द्वारा जारी... Read more
भीमताल का फ्रेडी सैप
वन स्ट्रॉ रेवोल्यूशन वाले जापानी मासानोबू फुकुओका और पर्मीकल्चर के प्रतिनिधि आस्ट्रियाई किसान सैप होल्ज़र फिलहाल विश्वविख्यात नाम हैं और दुनिया भर के पर्यावरणविद उन्हें हाथोंहाथ लेते हैं और उ... Read more
हम सब अपने बच्चों के हत्यारे हैं
सुन्दर चन्द ठाकुर कवि, पत्रकार, सम्पादक और उपन्यासकार सुन्दर चन्द ठाकुर सम्प्रति नवभारत टाइम्स के मुम्बई संस्करण के सम्पादक हैं. उनका एक उपन्यास और दो कविता संग्रह प्रकाशित हैं. मीडिया में ज... Read more
क्यों ज़रूरी है स्कूलों के इस पागलपन से पीछे लौटना
बोस्टन में मनोविज्ञान पढ़ाने वाले प्रोफ़ेसर पीटर ग्रे ने हाल के वर्षों में आधुनिक शिक्षा पद्धति की बुनियाद को लेकर कई सवाल खड़े किये हैं. दुनिया भर के शिक्षाविदों ने उनके विचारों का समर्थन किया... Read more
तिब्बत पहुँचने वाला पहला जापानी
महान यात्रियों की श्रृंखला में एक और बड़ा नाम है एकाई कावागूची का. 1866 के साल जापान में ओसाका के समीप स्थित सकाई नगर में एक ईसाई परिवार में जन्मे कावागूची को पंद्रह साल की उम्र में गौतम बुद्... Read more