बद्रीनाथ की 200 साल पुरानी तस्वीर
1808 के समय तक यह माना जाता था कि गढ़वाल स्थित गोमुख में गंगा का उद्गम स्थल है लेकिन कुछ लोगों का मानना था कि गंगा नदी का उद्गम स्थल मानसरोवर ताल है यह मानसरोवर से हिमालय के बीच एक घाटी से ह... Read more
इगास लोकपर्व को राजपत्र में स्थान मिलने के मायने
आज का दिन ऐतिहासिक बन गया है. इक्कीस साल के उत्तराखण्ड में, इसके किसी लोकपर्व को पहली बार राजपत्र में स्थान मिला है. आज उत्तराखण्ड में इगास का राजकीय अवकाश है. इससे पूर्व हरेला को भी राजपत्र... Read more
गिरीश तिवारी ‘गिर्दा’ की कविता: बाल दिवस विशेष
प्रख्यात जनधर्मी कलाकार-कवि के रूप में गिर्दा हमारे दिलों में अमर हैं. बाल दिवस पर सुनिये युवा कलाकार करन जोशी द्वारा संगीतबद्ध गिर्दा की कविता ‘जहाँ न पटरी माथा फोड़े, ऐसा हो स्कूल हम... Read more
ठेठ पहाड़ी खेलों की याद
खेल के मैदान में आजकल भारत के कई खिलाड़ी कीर्तिमान स्थापित कर रहे हैं. पढाई के साथ खेलकूद को भी प्रोत्साहन मिल रहा है और हमारे समय की कहावत- पढ़ोगे लिखोगे बनोगे नवाब, खेलोगे कूदोगे बनोगे खराब... Read more
कुमाऊं के अल्मोड़ा क्षेत्र में जब समुद्री यात्रा करने वाले को जाति से बाहर किया जाता था
भारत में लम्बे समय तक समुद्री यात्रा करना पाप समझा जाता था जिसका एक कारण हिन्दू धर्म में समुद्र को देवता के रूप में पूजा जाना था और देवता को लांघने की कल्पना कर सकना भी भारतीयों की पहुंच से... Read more
वह स्लेटी रंग का संदूक
फिर आई दिवाली, मां ने फिर वहीं पुराना राग अलापा. “सब कबाड़ घर का बाहर निकाल दो साफ सफाई करके घर में पुताई करनी है.” “चनी! तेरा एक संदूक है स्टोर में, मतलब का सामान छांट कर एक तरफ रख दे और बा... Read more
इतिहास लेखन में महिलाओं की ध्वजवाहक ‘गुलबदन बेगम’
1520 का वक़्त था जब तेरह वर्षीय हुमायूँ को बाबर ने बदक्खशा का सूबेदार नियुक्त किया गया. हुमायूँ की उम्र कच्ची थी लेकिन बाबर चाहता था कि वो प्रशासन के दाव-पेंच जितनी जल्दी सीख जाए उतना अच्छा... Read more
लालमणि-खीमदेव की फर्म तम्बाकू के लिए प्रसिद्ध थी
पहाड़ की प्रमुख मंडी हल्द्वानी के आबाद होने की कहानी बहुत रोचक है. इसका वर्तमान चाहे कितना ही स्वार्थी हो गया हो इसका भूतकाल बहुत ईमानदार और विश्वास पर आधारित था. मूल रूप से रानीखेत के रहने... Read more
पिथौरागढ़ के बच्चों और युवाओं ने मिलकर बनाई पारम्परिक ऐपण वाली दिवाली लाइट्स
हरेला सोसायटी अपने नये-नये प्रयोगों के लिये बेहद लोकप्रिय है. हरेला सोसायटी का अपसाइल्किलिंग का काम पिछले कुछ वर्षों से बेहद सराहा गया है. ‘जुगनू लाईट’ ऐसा ही एक प्रोडक्ट है जो पिछले तीन साल... Read more