भगवान शिव के बारह ज्योतिर्लिंग
हिन्दू धर्मग्रंथों और पुराणों के अनुसार भगवान शिव (Lord Shiva) जहाँ-जहाँ स्वयं प्रकट हुए उन बारह स्थानों पर स्थित शिवलिंगों को ज्योतिर्लिंगों के रूप में पूजा जाता है. ज्योतिर्लिंगों की संख्य... Read more
उत्तराखंड के अल्मोड़ा से 35 किलोमीटर दूर स्थित जागेश्वर धाम कुमाऊँ के प्राचीन मंदिरों में से है. जागेश्वर मंदिरों का निर्माण कत्यूरी राजाओं ने सातवीं सदी के दौरान कराया था. इसलिये इन मंदिरों... Read more
गुप्तकाशी: जहाँ शिव गुप्तवास पर रहे
उत्तराखण्ड के गढ़वाल मंडल के रुद्रप्रयाग जिले में बसा है (Guptkashi) गुप्तकाशी. यह क़स्बा केदारघाटी में मन्दाकिनी नदी के सुन्दर तट पर बसा है. कर्णप्रयाग, गौचर, रुद्रप्रयाग और अगस्त्यमुनि होते... Read more
भोले का शीतकालीन प्रवास मक्कूमठ
मक्कूमठ गढ़वाल मंडल के रुद्रप्रयाग जनपद की पट्टी परकण्डी व तहसील ऊखीमठ हुते हुए या भीरी परकण्डी होते हुए पहुंचा जा सकता है. ऊखीमठ के रास्ते यह दूरी 32 किमी तथा भीरी के रास्ते 16 किमी है. यहाँ... Read more
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