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1 Comments

  1. Anshul Kumar Dobhal

    ये कुछ गड़बड़ लिखा है।

    जहाँ तक टिहरी, उत्तरकाशी की बात है, मैं वहीं का हूँ।
    जौनसार, जौनपुर, रवाईं, उत्तरकाशी, रैका-रमोली(टिहरी का प्रतापनगर), थौलधार आदि क्षेत्रों में बूढ़ी बग्वाल मनाई जाती है, एगाश नहीं। बूढ़ी बग्वाल, रिख बग्वाल का ही नाम है जो दीवाली के ठीक 1 महीने बाद होती है।
    एगाश बग्वाल कार्तिक शुक्ल एकादशी को, दीवाली के 11 दिन बाद होती है, जो टिहरी के कुछ इलाकों, एवं पौड़ी, चमोली, रुद्रप्रयाग में होती है।

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