memories

बंजारा मासाब की शादी का किस्सा

प्रसिद्ध चित्रकार, मूर्तिकार व लेखक नवीन वर्मा ‘बंजारा’ का अचानक चले जाना सभी के लिए एक बहुत गहरा आघात है.…

4 years ago

ऐसा भी कहीं होता है?

पिछली पोस्ट में मैंने भारत के कालजयी लेखक प्रेमचंद के परिवार के साथ रहने के कारण खुद को सौभाग्यशाली व्यक्तियों…

5 years ago

वो कॉर्क की बॉल, पत्थर के विकेट, वो लकड़ी का बैट और वह छक्का

पहाड़ और मेरा जीवन भाग-16 (पोस्ट को लेखक सुन्दर चंद ठाकुर की आवाज में सुनने के लिये प्लेयर के लोड…

5 years ago

और वह मुर्गी का चूजा दो महीने बाद जाने कहां से लौट आया

पहाड़ और मेरा जीवन भाग-15 (पिछली क़िस्त : और इस तरह रातोंरात मैं बुद्धू बच्चे से बना एक होशियार बालक…

5 years ago

गैंती पकड़ना सीख लेते तो भी कान्ट्रैक्ट की माहटरई से जादा कमाते

साधो हम बासी उस देस के – 8 -ब्रजभूषण पाण्डेय (पिछली कड़ी : बावन सेज, तिरसठ आँगन, सत्तर ग्वालिन लूट…

5 years ago

और इस तरह रातोंरात मैं बुद्धू बच्चे से बना एक होशियार बालक

पहाड़ और मेरा बचपन – 14 (पिछली क़िस्त : और इस तरह जौ की ताल ने बचाई इज्जत, मैंने मां…

5 years ago

बावन सेज, तिरसठ आँगन, सत्तर ग्वालिन लूट लिए

साधो हम बासी उस देस के – 7 -ब्रजभूषण पाण्डेय (पिछली कड़ी : स्वस्थ बातचीत का वर्जित विषय ) साँकल…

5 years ago

और इस तरह जौ की ताल ने बचाई इज्जत, मैंने मां के सामने स्वाभिमान की रक्षा की

पहाड़ और मेरा बचपन – 13 (पिछली क़िस्त : और हम वापस पहुंचे पहाड़ों की गोद में, ठुलीगाड़ बना पिथौरागढ़…

5 years ago

और हम वापस पहुंचे पहाड़ों की गोद में, ठुलीगाड़ बना पिथौरागढ़ में अड्डा

पहाड़ और मेरा बचपन – 12 (पिछली क़िस्त : उधमपुर में दो साल के छोटे भाई की मौत और पिता…

5 years ago

उधमपुर में दो साल के छोटे भाई की मौत और पिता का थोड़ा पगला जाना

पहाड़ और मेरा बचपन – 11 (पिछली क़िस्त : जम्मू में नदी से मछलियां पकड़ना और अर्चना वर्मा की कॉपी…

5 years ago