Chandra Shekhar Tiwari

पीछे छूटता पहाड़पीछे छूटता पहाड़

पीछे छूटता पहाड़

आम लोगों के संघर्ष, आंदोलन और उनकी शहादत से जन्मा 'उत्तराखंड' हमारे देश के राजनैतिक मानचित्र में एक राज्य के…

5 years ago
समाज विज्ञानी लोकेश ओहरी की पुस्तक’ द किंगडम कम’ का लोकार्पणसमाज विज्ञानी लोकेश ओहरी की पुस्तक’ द किंगडम कम’ का लोकार्पण

समाज विज्ञानी लोकेश ओहरी की पुस्तक’ द किंगडम कम’ का लोकार्पण

दून पुस्तकालय एवं शोध केंद्र देहरादून के तत्वाधान में शनिवार, 5 अक्दूबर, 2019 को होटल इन्द्रलोक में लोकेश ओहरी की…

5 years ago
कल से देहरादून में गांधी के कार्टून और डाक टिकटों की प्रदर्शनीकल से देहरादून में गांधी के कार्टून और डाक टिकटों की प्रदर्शनी

कल से देहरादून में गांधी के कार्टून और डाक टिकटों की प्रदर्शनी

दून पुस्तकालय एवम् शोध केन्द्र की ओर से महात्मा गांधी जी की 150वीं जयंती के अवसर पर विश्व के विभिन्न…

5 years ago
क्या आप जानते हैं उत्तराखंड के इतिहास में 5 सितम्बर का महत्वक्या आप जानते हैं उत्तराखंड के इतिहास में 5 सितम्बर का महत्व

क्या आप जानते हैं उत्तराखंड के इतिहास में 5 सितम्बर का महत्व

उत्तराखण्ड में स्थित अल्मोड़ा जनपद का पश्चिमी सीमावर्ती इलाका सल्ट कहलाता है. तीखे ढलान वाले रुखे-सूखे पहाड़, पानी की बेहद…

5 years ago
सिमटती पुस्तकालय संस्कृतिसिमटती पुस्तकालय संस्कृति

सिमटती पुस्तकालय संस्कृति

कई पुस्तकालय ऐसे भी हैं जहां पाठकों की संख्या तो पर्याप्त दिखाई देती है पर वे वित्तीय व अन्य संसाधनों…

6 years ago
गुमानी और गौर्दा का देशप्रेमगुमानी और गौर्दा का देशप्रेम

गुमानी और गौर्दा का देशप्रेम

कुमाऊं अंचल में हिंदी की खड़ी बोली में साहित्य की परंपरा लम्बे समय तक मौखिक रही. कुमाऊं में हिंदी की…

6 years ago
प्रकृति के करीब है पहाड़ का लोक पर्व – हरेलाप्रकृति के करीब है पहाड़ का लोक पर्व – हरेला

प्रकृति के करीब है पहाड़ का लोक पर्व – हरेला

“तुम जीते रहो और जागरूक बने रहो, हरेले का यह दिन-बार आता-जाता रहे, वंश-परिवार दूब की तरह पनपता रहे, धरती…

6 years ago
कौसानी के कवि सुमित्रानंदन पंत -जन्मदिन पर विशेषकौसानी के कवि सुमित्रानंदन पंत -जन्मदिन पर विशेष

कौसानी के कवि सुमित्रानंदन पंत -जन्मदिन पर विशेष

20 मई 1900 को जन्मे इस सुकुमार कवि के बचपन का नाम गुसांई दत्त था. स्लेटी छतों वाले पहाड़ी घर,…

6 years ago
फागुन को पौड़ी के बड़े याकूब का इन्तजार रहता हैफागुन को पौड़ी के बड़े याकूब का इन्तजार रहता है

फागुन को पौड़ी के बड़े याकूब का इन्तजार रहता है

होली है जो बैरभाव को जगाती है और न जात-पात को देखती है और न छोटे-बड़े का भेद समझती है.…

6 years ago
बच्चों ने भरे थे टिहरी की होली में रंगबच्चों ने भरे थे टिहरी की होली में रंग

बच्चों ने भरे थे टिहरी की होली में रंग

हिमालय की उपत्यका में बसा गढ़वाल यूं तो अपनी, सांस्कृतिक, सामाजिक एवं धार्मिक आस्थाओं की वजह से अपनी गौरवमयी छवि…

6 years ago