Sundar Chand Thakur

और मां ने सिन्ने यानी बिच्छू घास से लाल कर दी मेरी टांगे

पहाड़ और मेरा जीवन – 30 मैं बचपन से ही थोड़ा बेपरवाह मगर बहुत स्वाभिमानी रहा हूं. बचपन में मैं…

6 years ago

मैं क्यों चलता था 15 किलो बोझ लादे बिजली के खंभे पर संतुलन बनाता

पहाड़ और मेरा जीवन –29 हमारे परिवार के जम्मू से ठूलीगाड़ आने की वजह पिताजी थे, जिन्होंने फौज में अफसर…

6 years ago

बिना गलती के पड़ी जब मार, सिर पर निकले तीन-तीन ‘गुमड़े’

पहाड़ और मेरा जीवन –28 पहाड़ों में गुजरे बचपन के दिनों को याद करते हुए इधर दो बातें हुईं. पहली…

6 years ago

रचना सिंह के कारण जब पूरी कक्षा के सामने मेरी इज्जत दांव पर लगी

पहाड़ और मेरा जीवन –27 मैं आप लोगों को इस बार केंद्रीय विद्यालय पिथौरागढ़ का किस्सा सुनाने जा रहा हूं.…

6 years ago

इसलिए मैं हरीश बम उर्फ हरसू का आज भी कायल हूं

पहाड़ और मेरा जीवन – 26 ठूलीगाड़ में गुजारे दिनों की बात चल रही है, तो किस्से पर किस्से याद…

6 years ago

क्या-क्या न किए हमने करम बूबू के रेडियो पर कमेंट्री सुनने के लिए

पहाड़ और मेरा जीवन – 25 ठूलीगाड़ में मैं चौथी कक्षा में आया था और सातवीं करने के बाद एक…

6 years ago

पहाड़ी भात-दाल और काले बिस्कुट यानी मड़वे की रोटी को याद करते हुए

पहाड़ और मेरा जीवन – 24 (पोस्ट को लेखक सुन्दर चंद ठाकुर की आवाज में सुनने के लिये प्लेयर के…

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जब संजु वडके की अफसरों के बच्चों वाली साइकिल मैंने डोट्याल की टांगों के बीच घुसाई

पहाड़ और मेरा जीवन – 23 जैसा कि मैंने पिछली किस्त में आपको अपने दोस्त संजु वडके के बारे में…

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मृत्यु से दूसरा साक्षात्कार हुआ जब यशुदास मेरी आंखों के सामने डूबा

पहाड़ और मेरा जीवन - 21 (पोस्ट को लेखक सुन्दर चंद ठाकुर की आवाज में सुनने के लिये प्लेयर के…

6 years ago

आख़िर किस मिट्टी के बने होते हैं कमान्डो

2008 के मुम्बई हमले के बाद हमारे साथी और वरिष्ठ पत्रकार-सम्पादक सुंदर चंद ठाकुर ने अपने एक कमांडो मित्र पर…

6 years ago