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अंतर देस इ उर्फ़… शेष कुशल है! भाग – 12

गुडी गुडी डेज़ (स्थिति तनावपूर्ण किन्तु नियंत्रण में है...) अमित श्रीवास्तव न गर्मी न जाड़े के गुदगुदे से दिन थे…

6 years ago

कुमाऊनी लोकोक्तियाँ – 62

  पिथौरागढ़ में रहने वाले बसंत कुमार भट्ट सत्तर और अस्सी के दशक में राष्ट्रीय समाचारपत्रों में ऋतुराज के उपनाम…

6 years ago

अल्मोड़ा कैंट में शरद

अल्मोड़ा का कैंट एरिया अल्मोड़ा के बीचों बीच होते हुए भी प्रतिदिन कंक्रीट के जंगल में तब्दील होते जा रहे…

6 years ago

लड़के फल नहीं खाएंगे, तो कौन खाएगा

[पूर्वकथन: ललित मोहन रयाल की यह सीरीज खासी लोकप्रिय रही है और इसे हमारे पाठकों ने न केवल पसंद किया…

6 years ago

हल्द्वानी के इतिहास के विस्मृत पन्ने: 63

साठ के दशक से पूर्व नगर में एक फकीर घूमा करता था, नाम था उसका किशना पागल. वह अपनी मर्जी…

6 years ago

हवा में गूंजे गीत

कहो देबी, कथा कहो – 22 (पिछली कड़ी: कहो देबी, कथा कहो – 21 वे दिन, वे लोग और उन…

6 years ago

कुमाऊँ में साइमन कमीशन का बहिष्कार

भारत के भावी संवैधानिक स्वरूप पर रिपोर्ट हेतु 1927 में ब्रिटिश सरकार ने साइमन कमीशन की नियुक्ति की थी. इस…

6 years ago

कुमाऊनी लोकोक्तियाँ – 61

  पिथौरागढ़ में रहने वाले बसंत कुमार भट्ट सत्तर और अस्सी के दशक में राष्ट्रीय समाचारपत्रों में ऋतुराज के उपनाम…

6 years ago

मुनस्यारी का बुरांश

चल रूपा बुरांसा क फूल बणी जौंला छमछम हिट छींछांड़ियूं को पाणी पेई औंला गढ़वाली कवि-गीतकार महेशानंद गौड़ 'चंदा' का…

6 years ago

उन्हें अचानक गंगा में “भारत माता” क्यों दिखने लगी है

इस समय जरूरी है बांधों को लेकर उत्तराखंड के जनमानस के द्वंद्वों को सामने लाना. जो इतने भीषण और बहुआयामी…

6 years ago