कहो देबी, कथा कहो – 25 पिछली कड़ी:कहो देबी, कथा कहो – 24, पंतनगर में दुष्यंत कुमार और वीरेन डंगवाल…
सभी को पता है फिर भी बताना ठीक रहता है कि नया साल आ गया. अपना मकसद नये साल की…
हिमालय के पहाड़ी इलाकों ख़ास तौर पर उत्तराखण्ड, हिमाचल प्रदेश और नेपाल में पाई जाने वाली कुत्तों की सबसे विख्यात…
डा. वासुदेव शरण अग्रवाल ने एक जगह लिखा है - “लोकोक्तियाँ मानवीय ज्ञान के चोखे और चुभते सूत्र हैं.” यदि…
पहाड़ और मेरा बचपन – 14 (पिछली क़िस्त : और इस तरह जौ की ताल ने बचाई इज्जत, मैंने मां…
आप उत्तराखण्ड के किसी भी इलाके में सैलानी बन कर भ्रमण के लिए निकले हों तो तय है कि आपको…
डा. वासुदेव शरण अग्रवाल ने एक जगह लिखा है - “लोकोक्तियाँ मानवीय ज्ञान के चोखे और चुभते सूत्र हैं.” यदि…
23 साल का ताजा-ताजा ग्रेजुएट लड़का अक्सर मेरे पास आकर अक्सर बैठ जाया करता है. एक दिन वह काफी देर…
गामा पहलवान अब हमारे महादेश की किंवदन्तियों का अभिन्न हिस्सा बन चुके हैं. उन्हें याद करना अन्तहीन नोस्टैल्जिया जगाता है.…
बड़ा बाज़ार के पास वाले मोड़ पर ही, जहाँ किसी जमाने में घोड़ा स्टेंड था, उसी तिराहे पर, स्टेट बैंक…