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उत्तराखण्ड में धर्मशालाओं के निर्माण की शुरुआत करने वाले काली कमली वाले बाबा

काली कमली वाले बाबा को उत्तराखण्ड के तीर्थयात्रा के रास्तों पर धर्मशालाओं के निर्माण के लिए विशेष तौर पर याद…

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आम आदमी में चूसे जाने की अपार संभावनाएं मौजूद हैं

कुछ दिनों पहले अचानक हमें अपनी बुद्धि पर फिर से तरस आने लगा. यह कोई नई बात नहीं थी. किसी…

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बाजूबन्द : हिमालय की घसियारियों के गीत

पहाड़ की महिला का जीवन यदि किसी से नजरभर भी देखा होगा तो इस बात ने जरुर इत्तेफाक रखेगा कि…

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मायावती के प्रधानमंत्री बनने की चर्चा तक से मीडिया को तकलीफ क्यों

बसपा प्रमुख मायावती के प्रधानमंत्री बनने की संभावना से राजनीतिक दलों को जो भी दिक्कत या प्रतिस्पर्धा हो, लेकिन महसूस…

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अकल्पनीय अंत हुआ था परवीन बाबी के जीवन का

परवीन बाबी भारत की पहली फ़िल्मी अभिनेत्री थी जिनकी तस्वीर मशहूर पत्रिका ‘टाइम’ ने अपने कवर पर छापी थी. उन्हें…

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गुलदाढू से सावधान भोंकता कम काटता ज्यादा है

गैरीगुरु की पालिटिकल इकानोमी : अथ चुनाव प्रसंग- 2 पिछली क़िस्त यहां पढ़े-गैरीगुरु की पालिटिकल इकानोमी : अथ चुनाव प्रसंग…

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घर पर ऐसे बनता था उत्तराखंड में पिठ्या

उत्तराखंड में सभी मांगलिक कार्यों की शुरुआत पिठ्या लगाकर ही होती है. पिठ्या को यहां अत्यंत शुभ माना जाता है.…

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उत्तराखंडी चेतना की नई शुरुआत या पटाक्षेप

फरवरी 2014 में, जब उस वक़्त के मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा के त्यागपत्र के बाद हरीश रावत को मुख्यमंत्री की कमान…

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छूट प्रथा : उत्तराखंड के जौनपुर की प्रथा

उत्तराखंड में टिहरी गढ़वाल में एक खुबसूरत पहाड़ी क्षेत्र है जौनपुर. यमुना के बांयी तरफ स्थित जौनपुर का यह क्षेत्र…

6 years ago

मेरी माँ अब नहीं हैं लेकिन वह नदी अब भी है

आज से नब्बे साल पहले यानी 3 अप्रैल 1929 को शिमला (हिमाचल प्रदेश) में जन्मे निर्मल वर्मा अपने विशिष्ट गद्य…

6 years ago