Humour

सूरज की मिस्ड काल – 7

दुनिया की सब माँ ये एक सरीखी होती हैं आज इतवार के चलते अपन अलसाए से लेते रहे. कई बार…

6 years ago

सूरज की मिस्ड काल – 6

सूरज भाई गुलगपाड़ा सुनकर गर्मा गये आज सुबह जरा जल्दी जग गये. सूरज भाई का इन्तजार करते उधर देखते रहे…

6 years ago

खंभे पर चढ़कर शुभकामनाएं देते भाई साहब

भाई साहब, त्योहारों से ऐन पहले सड़क किनारे के बिजली के ख़म्भों पर चढ़ जाते हैं. आप यह मत सोच…

6 years ago

सूरज की मिस्ड काल – 5

दुआओं के एंटीबॉयटिक का फ़ौरन असर होता है सूरज भाई पेड़ की फ़ुनगियों से झांक रहे हैं. पीटी मास्टर सरीखे…

6 years ago

वे दिखा रहे हैं क्योंकि जनता आँखों पर पट्टी बाँधे जादूगर का खेल देखना चाहती है

भारत को चाहिए जादूगर और साधु - हरिशंकर परसाई हर 15 अगस्त और 26 जनवरी को मैं सोचता हूँ कि…

6 years ago

विशाल हृदय वाले गुरूजी और हिरन का आखेट

हेडमास्टर साहब, मस्तमौला आदमी थे. टेंशन बिल्कुल नहीं पालते थे. बरसात के दिनों को छोड़कर, सालभर कक्षाएँ बाहर लगती थीं.…

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सूरज की मिस्ड काल – 4

धूप अलसाई सी लेटी है सुबह दरवाजा खोलते ही धूप दिखी. एकदम दरवज्जे तक आकर ठहरी हुयी सी. जैसे सूदूर…

6 years ago

सूरज की मिस्ड काल – 3

(पिछली कड़ी – सूरज की मिस्ड काल भाग- 2) गुलाबी जाड़े की एक सुबह सुबह उठकर चाय मुंह धो लिये हैं.…

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सूरज की मिस्ड काल – 2

(पिछली कड़ी - सूरज की मिस्ड काल भाग- 1) न जाने नछत्रों से कौन, निमंत्रण देता मुझको मौन – सुमित्रानंदन…

6 years ago

सूरज की मिस्ड काल भाग- 1

आज सुबह जगे तो देखा कि सूरज की चार ठो मिस्ड काल पड़ी थीं. उठकर बाहर आये. सोचा फ़ोन मिलाकर…

6 years ago