दादि, दादि, दादि मि छूं पवन पहाड़ी... ठेठ पहाड़ी लटेक में कही गयी ये वो पंक्ति है जो शायद ही…
लॉ की पढ़ाई करते वक़्त हिन्दू लॉ की किताब में शादी के शीर्षक में एक शब्द पढ़ा था "स्त्रीधन" यानी…
देव भूमि अल्मोड़ा जहां अष्ट भैरव और नव दुर्गाओं का वास है, इन्हीं नव दुर्गाओं में से एक नन्दादेवी भी…
प्रतिवर्ष अल्मोड़ा जनपद के मुख्यालय तथा गरूड़ (बैजनाथ) में स्थित कोट नामक स्थान में भाद्र शुक्ल पक्ष अष्टमी को मनाये…
जैसे कल की ही बात हो. गोपेश्वर के भूगोल के बिम्बों से प्रेमिका का नख-शिख वर्णन करता एक लम्बी दाढ़ी…
पहाड़ में यात्राओं के दौरान जब आप लौटने को होते हैं तो अक्सर बड़े बुजुर्ग और जवान आपसे एक बात…
सारे भारत में जनजातीय इलाकों में जो कौम बसती थी उनको रोजी-रोटी जिंदगी, जंगलों से चलती है. उनका उन पर…
अल्मोड़ा में ग्रीष्म की पीली उदास धुधलाई सन्ध्या की इस वेला में, मैं एकाकी बैठा कसार देवी के शिखर पर…
कुमाऊँ की प्रचलित गौरा-महेश्वर की गाथा में शिव-पार्वती के विवाह में पड़ने वाली बाधाओं से सम्बन्धित आख्यान तथा जनश्रुतियां मिलती…
भादों की शुक्ल पक्ष की अष्टमी को कुमाऊं और नेपाल में हर्षोल्लास और श्रृद्धा भक्ति से भरा प्रकृति को समर्पित,…