Sunder Chand Thakur

गरीब के गुरूर को मत जगाना कभी, मैंने चश्मे वाले को यूं दी जबर धमकीगरीब के गुरूर को मत जगाना कभी, मैंने चश्मे वाले को यूं दी जबर धमकी

गरीब के गुरूर को मत जगाना कभी, मैंने चश्मे वाले को यूं दी जबर धमकी

पहाड़ और मेरा जीवन – 60 (पिछली क़िस्त: वह भी क्या कोई उम्र थी पिताजी ये दुनिया छोड़कर जाने की)…

5 years ago
वह भी क्या कोई उम्र थी पिताजी ये दुनिया छोड़कर जाने कीवह भी क्या कोई उम्र थी पिताजी ये दुनिया छोड़कर जाने की

वह भी क्या कोई उम्र थी पिताजी ये दुनिया छोड़कर जाने की

पहाड़ और मेरा जीवन – 59 (पिछली क़िस्त: बीना नायर का वह सबके सामने मेरे दाहिने गाल को चूम लेना)…

5 years ago
बीना नायर का वह सबके सामने मेरे दाहिने गाल को चूम लेनाबीना नायर का वह सबके सामने मेरे दाहिने गाल को चूम लेना

बीना नायर का वह सबके सामने मेरे दाहिने गाल को चूम लेना

पहाड़ और मेरा जीवन – 58 (पिछली क़िस्त: मनोज भट उर्फ गब्बू से पढ़े गणित के ट्यूशन के नहीं दिए…

5 years ago
आनंद से भरे जीवन के लिए कुछ शर्तिया नुस्खेआनंद से भरे जीवन के लिए कुछ शर्तिया नुस्खे

आनंद से भरे जीवन के लिए कुछ शर्तिया नुस्खे

क्या आप अपने जीवन को जांच-परखकर बता सकते हैं कि वह खुशहाल है या नहीं. जाहिर है ऐसा करने के…

6 years ago
बद्रीदत्त कसनियाल- जिनके सान्निध्य में कब पत्रकार बना, पता ही न चलाबद्रीदत्त कसनियाल- जिनके सान्निध्य में कब पत्रकार बना, पता ही न चला

बद्रीदत्त कसनियाल- जिनके सान्निध्य में कब पत्रकार बना, पता ही न चला

पहाड़ और मेरा जीवन -44 पिछली क़िस्त : पहाड़ों में पैदल चलने के बिना जिंदगी का जायका ही क्या जो…

6 years ago
पहाड़ों में पैदल चलने के बिना जिंदगी का जायका ही क्यापहाड़ों में पैदल चलने के बिना जिंदगी का जायका ही क्या

पहाड़ों में पैदल चलने के बिना जिंदगी का जायका ही क्या

पहाड़ और मेरा जीवन -43 पिछली क़िस्त : हल चलाना, नौले से फौले में पानी भरकर लाना और घोघे की…

6 years ago
हल चलाना, नौले से फौले में पानी भरकर लाना और घोघे की रोटी मक्खन, नून के साथ खानाहल चलाना, नौले से फौले में पानी भरकर लाना और घोघे की रोटी मक्खन, नून के साथ खाना

हल चलाना, नौले से फौले में पानी भरकर लाना और घोघे की रोटी मक्खन, नून के साथ खाना

पहाड़ और मेरा जीवन – 42 पिछली कड़ी:  एक कमरा, दो भाई और उनके बीच कभी-कभार होती हाथापाई हम सबकी…

6 years ago
एक कमरा, दो भाई और उनके बीच कभी-कभार होती हाथापाईएक कमरा, दो भाई और उनके बीच कभी-कभार होती हाथापाई

एक कमरा, दो भाई और उनके बीच कभी-कभार होती हाथापाई

पहाड़ और मेरा जीवन – 41 पिछली कड़ी: आपकी एक छोटी-सी पहल कैसे आपका मुकद्दर संवार सकती है आज कुछ…

6 years ago
आपकी एक छोटी-सी पहल कैसे आपका मुकद्दर संवार सकती हैआपकी एक छोटी-सी पहल कैसे आपका मुकद्दर संवार सकती है

आपकी एक छोटी-सी पहल कैसे आपका मुकद्दर संवार सकती है

पहाड़ और मेरा जीवन – 40 पिछली कड़ी: भाषण देते हुए जब मेरे पैर कांपते रहे, जुबान हकलाती रही और…

6 years ago
आर्मी के सिनेमा हॉल में चोरी-छिपे फिल्में देखना और पकड़े न जानाआर्मी के सिनेमा हॉल में चोरी-छिपे फिल्में देखना और पकड़े न जाना

आर्मी के सिनेमा हॉल में चोरी-छिपे फिल्में देखना और पकड़े न जाना

पहाड़ और मेरा जीवन – 22 (पोस्ट को लेखक सुन्दर चंद ठाकुर की आवाज में सुनने के लिये प्लेयर के…

6 years ago