एशियन गेम्स में 13वें दिन भारतीय महिला हॉकी टीम का स्वर्ण जीतने का सपना पूरा नहीं हो सका. भारतीय महिला टीम को फाइनल में जापान के खिलाफ 1-2 से हारना पड़ा और उसे रजत पदक से ही संतोष करना पड़ा.
भारतीय महिला हॉकी टीम को शुक्रवार को फाइनल मुकाबले में जापान के हाथों 1-2 से हारकर रजत पदक से संतोष करना पड़ा. जापान के लिए शिहोरी ओइकावा ने 11वें और मोतोमी कावामुरा ने 44वें मिनट में गोल किए.वहीं भारतीय टीम के लिए नेहा गोयल ने 25वें मिनट में एकमात्र गोल किया. इस हार के साथ ही भारतीय महिला टीम एशियाई खेलों में 36 साल बाद दूसरा स्वर्ण पदक जीतने से चूक गईं. भारत ने 1982 में नई दिल्ली में हुए नौवें एशियाई खेलों में पहली बार स्वर्ण पदक जीता था. स्वर्ण से चूकने के कारण भारतीय महिला टीम को टोक्यो ओलिंपिक-2020 का टिकट भी गंवाना पड़ा. टोक्यो ओलम्पिक खेलने के लिए भारतीय टीम को अब क्वालिफाइंग मैच खेलने होंगे.
इस से पूर्व पुरषों की हॉकी टीम भारत को मलयेशियाई टीम ने पेनल्टी शूटऑफ में हराकर एशियाई खेलों में गोल्ड मेडल की दौड़ से बाहर कर दिया था. जिससे भारत ने तोक्यो ओलिंपिक 2020 में सीधे प्रवेश का मौका भी गंवा दिया. मलयेशियाई टीम ने सडन डैथ में भारत को 7-6 से हराया। अब भारतीय टीम ब्रॉन्ज मेडल के लिए पाकिस्तान से खेलेगी.
13वें दिन आज भारत दो रजत सहित छह पदक जीतने में सफल रहा. भारत ने इसमें से तीन पदक नौकायन में जीते.महिला हॉकी के अलावा भारत को एक रजत पदक महिला वर्ग की जोड़ी वर्षा गौतम और श्वेता शर्वेगर ने दिलाया, तो कांस्य पदक वरुण ठक्कर-गणपति चेंगप्पा और हर्षिता तोमर ने दिलाया. स्क्वॉश के पुरुष वर्ग में भारतीय टीम सेमीफाइनल में हांगकांग से 0-2 से हार गई और उसे कांस्य पदक से ही संतोष करना पड़ा. बॉक्सर विकास कृष्ण ने 75 किलो वर्ग में भारत के लिए कांस्य पदक हासिल किया है, यह भारत का एशियन गेम्स 2018 का 64वां पदक है.
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